बिहार के निजी डिग्री कॉलेज के शिक्षकों को पटना हाईकोर्ट से मिली बड़ी खुशखबरी, नीतीश सरकार की दलील ख़ारिज


Edited By : Arun Chourasia
Friday, May 02, 2025 at 08:02:00 PM GMT+05:30Patna :- बिहार के मान्यता प्राप्त निजी डिग्री कॉलेज के शिक्षकों के लिए बड़ी खुशखबरी है, 2007 से पहले नियुक्त सभी शिक्षकों को वेतन एवं पेंशन का लाभ मिलेगा, इसका आदेश पटना हाई कोर्ट ने अपने फैसले में दिया है, वही इस मुद्दे पर बिहार सरकार की दलील को कोर्ट ने पूरी तरह से खारिज कर दिया है.
मिली जानकारी के अनुसार पटना हाईकोर्ट के एक्टिंग चीफ जस्टिस आशुतोष कुमार और जस्टिस पार्थ सारथी की खंडपीठ ने सुनवाई के बाद अपने फैसले में राज्य सरकार को आदेश दिया है कि राज्य के मान्यता प्राप्त निजी डिग्री कॉलेजों में 19 अप्रैल 2007 से पहले नियुक्त शिक्षकों को वेतन और पेंशन सहित सभी सेवा लाभ दिए जाएं. यह कार्य तीन महीने के भीतर पूरा किया जाना चाहिए.कोर्ट ने माना कि अधिकांश शिक्षक कॉलेजों की गवर्निंग बॉडी की अनुशंसा पर नियुक्त हुए थे और वर्षों से शिक्षण कार्य कर रहे हैं. आयोग के विघटन के बाद चयन प्रक्रिया कॉलेज स्तर पर पूरी की गई थी. कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि सेवानिवृत्त शिक्षकों को यूजीसी वेतनमान के अनुरूप पेंशन दिया जाए.
वहीं राज्य सरकार की दो अपीलों को खारिज करते हुए कोर्ट ने कहा कि बिहार विश्वविद्यालय अधिनियम, 1976 की धारा 57-A में 2015 में किए गए संशोधन का लाभ सभी योग्य शिक्षकों को मिलेगा, चाहे उनके कॉलेज 'डिफिसिट ग्रांट' में आते हों या 'परफॉर्मेंश ग्रांट' में. राज्य सरकार ने अपनी दलील में कहा था कि 2015 का संशोधन केवल प्रदर्शन आधारित अनुदान प्राप्त कॉलेजों पर लागू होता है, पर कोर्ट ने इस तर्क को ख़ारिज करते हुए कहा कि ऐसा करना शिक्षा नीति की मूल भावना के खिलाफ है.