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वेंटिलेटर पर चल रहा बिहार सरकार की सरकारी अस्पताल, वर्षो से कैमूर स्वास्थ्य विभाग कर रहा अनदेखी...

सरकार द्वारा स्वास्थ्य सुविधाओं को बहाल करने के लिए करोड़ों रुपए खर्च किया जाता है। लेकिन, इस स्वास्थ्य केंद्र का भवन कई साल से जर्जर हालत में है। लेकिन भवन निर्माण को लेकर स्वास्थ्य विभाग से आज तक कोई पहल नहीं किया गया।

Ventilator par chal raha Bihar sarkar ki sarkari aspatal, va
वेंटिलेटर पर चल रहा सरकारी अस्पताल- फोटो : Darsh News

Kaimur : बिहार और केंद्र सरकार स्वास्थ्य सेवाओं पर करोड़ों खर्च कर रही है। वहीं कैमूर जिले के रामपुर प्रखंड के मईडाण खुर्द गांव स्थित उप स्वास्थ्य केंद्र भवन काफी जर्जर हो चुका है, मानो वेंटिलेटर पर हो अस्पताल। जिससे स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों और मरीजों को हादसे की संभावना बनी रहती है। जैसे लगता है, उप स्वास्थ्य केंद्र वेंटिलेटर पर है। 


कैमूर सिविल सर्जन का कहना है कि, फिलहाल मरमती किया जाएगा जल्द भवन का निर्माण होगा। 


गांव के मनु राम ने बताया कि, उप स्वास्थ्य केंद्र का भवन लगभग 20 साल पहले बना था। जिसमें तीन कमरा है। लेकिन विगत कई साल से स्वास्थ्य विभाग का यह भवन पूरी तरह जर्जर चुका है और छत की दीवार प्लास्टर छोड़कर गिर रहा है। उसमें से सरिया दिख रहा है। यही नहीं भवन में कई जगह दरार भी पड़ चुकी है। कई बार मरीजों को इलाज करने या दवा लेने के लिए पहुंचने पर छत का प्लास्टर टूट कर गिर जाता है। हमेशा डर बना रहता है। इस दौरान मरीज या स्वास्थ्य कर्मी बाल बाल बच जाते हैं। नए सिरे से भवन बनवाने की मांग की है।

आपको बता दें कि, सरकार द्वारा स्वास्थ्य सुविधाओं को बहाल करने के लिए करोड़ों रुपए खर्च किया जाता है। लेकिन, इस स्वास्थ्य केंद्र का भवन कई साल से जर्जर हालत में है। लेकिन भवन निर्माण को लेकर स्वास्थ्य विभाग से आज तक कोई पहल नहीं किया गया।

 

स्वास्थ्य कर्मी बबीता कुमारी ने बताया कि, स्वास्थ्य केंद्र में तीन कमरा है। दो कमरा काफी खराब है। बारिश होने पर छत से पानी टपकता है और दवाई भी भींग कर खराब होने लगती है। एक कमरा बचा है। किसी भी तरह दवाई उसमें रखी गई है। जबकि, बरामदे में बैठकर आने वाले मरीजों को दवा और इलाज किया जाता है। बरामदा मे भी कई जगह दरार पड़ चुका है। छत का प्लास्टर गिरता रहता है। इस स्थिति में दिनभर भय का माहौल बना रहता है। 

इस मामले में कैमूर सिविल सर्जन डॉक्टर चन्द्रश्वरी रजक ने बताया कि, भवन जर्जर हो गया है। परेशानी है जिसके निर्माण को लेकर विभाग को पत्र लिखा गया है। जल्द ही अलग जगह चिन्हित करते हुए नए सिरे से भवन बनवाया जाएगा। अब सवाल है कि, क्या स्वास्थ्य विभाग कोई बड़ी हादसा का इंतेजार कर रहा है, अधिकारी उप स्वास्थ्य केंद्र का निरीक्षण करने नहीं जाते होंगे इतनी बड़ी लापरवाही का कारण क्या है।



कैमूर से प्रमोद कुमार की रिपोर्ट

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