Join Us On WhatsApp

BJP दिनदहाड़े कर रही लोकतंत्र की..., प्रशांत किशोर ने जन सुराज के प्रत्याशी को डराने का लगाया आरोप और कहा....

BJP दिनदहाड़े कर रही लोकतंत्र की..., प्रशांत किशोर ने जन सुराज के प्रत्याशी को डराने का लगाया आरोप और कहा....

BJP is violating democracy in broad daylight
BJP दिनदहाड़े कर रही लोकतंत्र की..., प्रशांत किशोर ने जन सुराज के प्रत्याशी को डराने का लगाया आरोप और- फोटो : Darsh News

पटना: बिहार में विधानसभा चुनाव को लेकर नामांकन अब खत्म हो गया है। सभी दल अपने प्रत्याशियों के लिए चुनाव प्रचार में जुट गई है। इस बीच जन सुराज के संयोजक प्रशांत किशोर ने भाजपा और गृह मंत्री अमित शाह पर कई गंभीर आरोप लगाये। उन्होंने कहा कि अमित शाह और उनके नेता हमारे प्रत्याशियों को नामांकन वापस लेने या NDA को समर्थन देने के लिए हर तरह से दबाव बना रहे हैं। उन्होंने अपने दल के एक उम्मीदवार को जबरदस्ती नामांकन वापस लेने का आरोप गृह मंत्री अमित शाह पर लगाया और कहा कि आपने हमारे 3 उम्मीदवारों का नामांकन वापस करवा दिया है लेकिन हमारे 240 शेर उम्मीदवार अभी भी मैदान में डटे हुए हैं। भाजपा के लोगों को महागठबंधन के उम्मीदवारों से डर नहीं है क्योंकि वे भी बाहुबली हैं लेकिन उन्हें अच्छे लोगों से डर लगता है।

इस संबंध में प्रेस कांफ्रेंस कर प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार चुनाव में इस बार अप्रत्याशित घटना हो रही है और आज हम आपको वही बताने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस देश में चुनाव में हर छोटे बड़े दल हिस्सा लेते हैं और चुनाव जीतने के बाद विधायकों के खरीद फरोख्त का सिलसिला तो सब जानते हैं। अपने विधायकों को बचाने के लिए राजनीतिक दल कई तरह के हथकंडे अपनाते हैं। बीते कुछ वर्षों में भाजपा की एक छवि बनी है कि चाहे कोई भी दल जीते लेकिन सरकार यही लोग बनायेंगे और अब इन लोगों ने बिहार में एक नया अभियान शुरू किया है। बिहार में तीन वर्षों तक भाजपा जन सुराज को वोट कटवा पार्टी कहती थी। वे कहते थे कि इनकी कोई वजूद नहीं है अब इनकी हालत ऐसी है कि चुनाव की प्रक्रिया शुरू होते ही NDA के लोग सबसे अधिक जन सुराज से डरे हुए हैं। इन्हें महागठबंधन के नेताओं से डर नहीं लग रहा है क्योंकि ये लोग जनता को डरा देते हैं कि भाई अगर हमें वोट नहीं दिए तो लालू जी का जंगलराज आ जायेगा लेकिन इस बार इनके सामने एक नया विकल्प जन सुराज के रूप में मौजूद है।

जन सुराज में कोई अपराधी या बाहुबली उम्मीदवार नहीं है बल्कि कोई डॉक्टर हैं तो कोई इंजीनियर, व्यवसायी या वकील। सभी के सभी पढ़े लिखे हैं और बुद्धिजीवी हैं इसलिए भाजपा और NDA के लोगों को सबसे अधिक डर जन सुराज से लग रहा है। जन सुराज का सबसे बड़ा योगदान है कि 30 वर्षों से चल रही मज़बूरी लालू-नीतीश की बंधुआ मजदूरी खत्म करने के लिए जन सुराज सामने आई है। प्रशांत किशोर ने कहा कि पिछले कुछ दिनों में जन सुराज की तरफ से घोषित तीन उम्मीदवारों ने अपना नामांकन नहीं कराया या फिर अपना नाम वापस ले लिया है। कुछ लोग चर्चा कर रहे हैं कि जन सुराज के लोग डर रहे हैं लेकिन सच्चाई कुछ और है। 

दानापुर के उम्मीदवार

प्रशांत किशोर ने कहा कि पहला केस है दानापुर का, यहां से महागठबंधन के जो उम्मीदवार चुनाव लड़ते हैं उनकी छवि एक बड़े बाहुबली अपराधी के तौर पर है जो अभी जेल में हैं फिर भी वहां भाजपा जब लडती है तो उन्हें बताने के लिए कुछ नहीं है। भाजपा के नेता बस इतना ही कहते हैं कि हमें वोट दे दो नहीं तो अगर राजद के लोग आ गए तो जीना हराम कर देंगे। इस बार दानापुर की जनता ने तय किया था कि हम डर कर भाजपा को वोट नहीं देना चाहते हैं इसलिए वहां के सारे व्यवसायियों ने बैठ कर एक निर्णय लिया और फिर मेरे साथ बैठक कर आपस में एक राजनीतिक व्यक्ति अखिलेश उर्फ़ मुटूर साह को उम्मीदवार बनाने की अपील की। हमलोगों ने मुटूर साह को टिकट दिया लेकिन निर्वाचन कार्यालय तक नहीं पहुंच सके। पुरे दिन अलग अलग अफवाहें फैली, भाजपा ने अफवाह फैलाई कि रीतलाल यादव के लोगों ने उन्हें बंधक बना लिया है जबकि सच्चाई थी कि वे गृह मंत्री अमित शाह के साथ मौजूद थे। प्रशांत किशोर ने एक फोटो दिखाते हुए कहा कि हमारे उम्मीदवार को भारत के गृह मंत्री और मंत्री धमेंद्र प्रधान पुरे दिन अपने साथ रखते हैं कि ताकि वह नामांकन नहीं करवा सके। इस पर चुनाव आयोग भी कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रहा है। एक वोटर को लुभाने के आरोप में आचार संहिता उल्लंघन का आरोप लगता है लेकिन एक प्रत्याशी को डरा कर लुभा कर नामांकन नहीं करवाने दिया जा रहा है। इस संबंध में हम चुनाव आयोग में शिकायत दर्ज करने जा रहे हैं।

BJP नेतृत्व दबाव बना कर वापस करवा दिया नामांकन

प्रशांत किशोर ने कहा कि दूसरा केस ब्रह्मपुर का है जहाँ हमारे एक उम्मीदवार ने अपना नामांकन दाखिल कर दिया जहाँ से लोजपा(रा) के एक बाहुबली नेता हुलास पांडेय भी चुनाव लड़ रहे हैं। जन सुराज के प्रत्याशी डॉ सत्यप्रकाश तिवारी एक बड़े डॉक्टर हैं, और ये ख़ुशी से नामांकन कराया और सक्रियता से प्रचार भी किया। नामांकन वापस लेने के अंतिम दिन अचानक इन्होने अचानक अपना नामांकन वापस ले लिया। उन्होंने एक चित्र जारी किया है जिसमें डॉ धर्मेंद्र प्रधान उनके घर पर बैठ कर डरा कर एक उम्मीदवार को अपने पक्ष में कर रहे हैं। एक उम्मीदवार से भाजपा के नेतृत्व का एक नेता जबरदस्ती दबाव बना कर इनका नामांकन वापस करवा रहे हैं। प्रशांत किशोर ने कहा कि एक घोषित उम्मीदवार के साथ भाजपा के नेता साथ में बैठा कर डरा धमका कर समझा कर नामांकन वापस लेने की कोशिश कर रहे हैं।

गोपालगंज के प्रत्याशी पर भी बनाया दबाव

प्रशांत किशोर ने गोपालगंज के प्रत्याशी गोपालगंज के सबसे बड़े डॉक्टर डॉ शशि शेखर सिन्हा का जन सुराज से करीब एक वर्षों से नाता है। जब हमने उन्हें गोपालगंज से उम्मीदवार बनाया तो परसों रात 8 बजे तक वह चुनाव प्रचार कर रहे थे। रात में 11 बजे के बाद वहां के एमएलसी और अन्य कई नेता उनके पास पहुंचे और दबाव बना कर नामांकन वापस लेने के लिए मजबूर किया। कल मेरी उनसे बातचीत हुई तो उन्होंने कहा कि मेरे ऊपर दबाव बनाया जा रहा है लेकिन मैं जन सुराज के साथ हूँ और फिर उन्होंने अपना सारा सार्वजनिक संपर्क सूत्र बंद कर दिया और अपना नामांकन वापस ले लिया। भाजपा के प्रत्याशी और बड़े नेताओं ने उनके ऊपर दबाव बनाया है।

प्रशांत किशोर ने कहा कि वाल्मीकिनगर के हमारे प्रत्याशी जिसे जन सुराज ने पहली बार टिकट दिया। थारू समाज को आज तक किसी ने भी उम्मीदवार नहीं बनाया था। हमारे प्रत्याशी एक शिक्षक थे जिन्होंने 2024 में वेतन नहीं मिलने की वजह से इस्तीफा दे दिया था। प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी ने उनका इस्तीफा स्वीकार भी कर लिया लेकिन जब उन्होंने नामांकन करवा लिया है तब NDA के प्रत्याशी उनसे कह रहे हैं कि आपका इस्तीफा जिला शिक्षा पदाधिकारी ने स्वीकार नहीं किया है। उनके ऊपर नामांकन वापस लेने का दबाव बनाया गया और अब इस तरह से डराया जा रहा है।

BJP खुलेआम कर रही है लोकतंत्र की हत्या

प्रशांत किशोर ने भाजपा पर सरेआम लोकतंत्र की हत्या का आरोप लगाया और लोकसभा चुनाव के दौरान सूरत लोकसभा सीट पर भाजपा के प्रत्याशी का निर्दलीय चुनाव जीतने की चर्चा की और कहा कि भाजपा वालों ने जबरदस्ती सभी का नामांकन वापस करवा दिया। भाजपा के लोग डरा कर बिहार में भी उम्मीदवारों का नामांकन वापस करवा रहे हैं। कोई आम या स्थानीय नेता नहीं बल्कि केंद्र में मंत्री इस तरह का काम कर रहे हैं। ये लोग महागठबंधन के उम्मीदवारों से नहीं डरते हैं क्योंकि इन्हें पता है कि वे भी जंगलराज वाले हैं जिसका डर लोगों को दिखा कर वोट ले लेंगे लेकिन जन सुराज के प्रत्याशी अच्छे लोग हैं इसलिए इन्हें हमसे डर लग रहा है।



Scan and join

darsh news whats app qr
Join Us On WhatsApp