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भागलपुर और किशनगंज के बाद अब बक्सर की बारी ? 2 महीने में 2 बार धंसा पुल

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बिहार के भागलपुर और किशनगंज के बाद बक्सर में गंगा नदी पर 89 करोड़ की लागत से बने ओवरब्रिज की उपरी सतह दो महीने में दूसरी बार धंस गई है. उसके बाद भी जिला प्रशासन के अधिकारी कुम्भकर्णी निंद्रा में सोये हुए हैं. दो महीने पहले इस ओवर ब्रिज के उपरी सतह में दरारें आने के साथ ही कई जगह धंस गई थी, जिसकी तस्वीर जब स्थानीय लोगों ने सोशल मीडिया पर वायरल की, तब जांच के नाम पर कई बड़े अधिकारियों ने पुल का निरीक्षण कर मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया. एक बार फिर कई जगह उपरी सतह धंस गई है. जिसके बाद रातों रात कंपनी के द्वारा इसका मरम्मत कराकर नाकामियों पर पर्दा डालने की कोशिश की जा रही है.

वहीं, दो महीने पहले जब पुल के उपरी हिस्से में दरारें पड़ने के साथ ही उपरी सतह कई जगहों पर धंस गई थी तो कंपनी के डीपीएम ने अधिक टेम्परेचर होने के कारण हल्की दरारें आने और धंसने का बहाना बनाकर लोगों के आंखों में धूल झोंकने की कोशिश की थी. लेकिन मीडिया में खबरे प्रकाशित होने के बाद आनन-फानन में इंजीनियरों की एक टीम ने विजिट कर पूरे मामले की जांच कर करवाने करने बात कही थी. दो महीने बाद जब सावन की महीने में तापमान पूरी तरह से सामान्य हो गया है. उसके बाद भी नवनिर्मित ओवरब्रिज की ऊपरी सतह कई जगहों पर धंस गया है, जिससे लोग डरे और सहमे हुए हैं.

उधर, ओवरब्रिज के उपरी सतह को मरम्मत करने में लगे मजदूरों ने बताया कि, कोई भी अधिकारी यहां पर नहीं है. हम लोगों को बस ठीक करने के लिए कहा गया है. अक्सर जब अनुपात में मेटेरियल नहीं रहता है, तो ओवरब्रिज के उपरी सतह में इस तरह के गड्ढे बन जाते हैं, जिसका मरम्मत हमलोग कर रहे हैं. गौरतलब है कि, जिला प्रशासन के नाक के नीचे गंगा नदी पर बने नए ओवर ब्रिज के ऊपरी सतह में पिछले दो महीने में दूसरी बार गड्ढे हो जाने के बाद भी अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई. जिसके बाद चर्चा है कि, भागलपुर की तरह बक्सर में भी कहीं बड़े हादसे का इंतजार तो अधिकारी नहीं कर रहे हैं.

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