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पश्चिम चंपारण में बुलडोजर वाली शादी, कुछ इस तरह संपन्न हुआ मटकोर रस्म

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जीवन में परंपराओं का अपना एक अलग महत्व है, जो विश्वास और श्रद्धा के आधार पर आज भी जीवित हैं. शादियों के सीजन में एक से एक शादियां देखने को मिलती है. कोई शादी अजब-गजब रस्मो-रिवाज, कोई हाई-फाई व्यवस्थाओं को लेकर चर्चा में है तो कई शादियां हेलीकॉप्टर व बेहतरीन जोड़ियों को लेकर सुर्खियों में रहती हैं. हिंदू धर्मावलंबियों की विवाह के एक दिन पहले मटकोर रस्म का एक अलग ही महत्व है. 

वर हो या वधु की विवाह यह रस्म अवश्य पूरा किया जाता है. मटकोर और हल्दी रस्म पूरे विधि-विधान के साथ-साथ उल्लास के साथ संपन्न किया जाता है. मझौलिया के गुरचुरवा गांव में अनोखी बुलडोजर वाली शादी की चर्चा है. एक बार फिर कुछ ऐसा हुआ कि, एक शादी चर्चा का विषय बन गई. जी हां ये है बुलडोजर वाली शादी. कई लोग इसको जेसीबी वाली शादी के रूप में भी चर्चा में ला रहे हैं. 

खबर के मुताबिक मझौलिया प्रखंड अंतर्गत गुरचुरवा गांव निवासी महावीर प्रसाद कुशवाहा के पुत्र आलोक कुमार की शादी हिंदू रीति-रिवाज के साथ होगी. जहां बिहार की शादियों में मटकोर के रस्म में कुदाल से मिट्टी काटने की परंपरा है. लेकिन, बदले दौर में मटकोर में कुदाल के बजाय जेसीबी से मिट्टी खोदने की रस्म निभाई गई. इस दौरान गाजे-बाजे के साथ कलाकारों द्वारा करतब दिखाए गए. इस जेसीबी वाली शादी की चर्चा होने लगी है.

पश्चिम चम्पारण से आशिष कुमार की रिपोर्ट

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