Bagaha -नेपाल के त्रिशूली नदी में गिरी बस में सवार यात्रियों के शवों की खोजबीन के लिए गंडक नदी में बड़े पैमाने पर अभियान चलाया जा रहा है। पश्चिम चंपारण के डीएम के दिशा-निर्देश पर एसएसबी 65वीं, एसडीआरएफ, और एनडीआरएफ की तीन टीमों को प्रतिनियुक्त किया गया है।
बताते चलें के विगत शुक्रवार को बीरगंज से काठमांडू जा रही दो यात्री बसों में लगभग 62 लोग सवार थे, जो बस के खाई में गिरने के बाद लापता हो गए थे। उनमें से लगभग 8 शव को नेपाल पुलिस, नेपाल एपीएफ, और नेपाल आर्मी की टीमों ने गंडक बराज से बरामद किया है, बाकी शवों की बरामदगी के लिए बगहा 2 के सीओ निखिल कुमार सिंह के नेतृत्व में एसएसबी 65वीं वाहिनी, एनडीआरएफ और एसडीआरएफ टीम द्वारा मोटरबोट से गंडक नदी में खोजबीन की जा रही है।खोजबीन अभियान के लिए तीनों टीमों ने 12 मोटरबोट लगाए हैं, जिन्हें दो टीमों में बांटकर चलाया जा रहा है। एक टीम को अपस्ट्रीम यानी पनियहवा वाल्मीकि नगर की तरफ और दूसरी टीम डाउनस्ट्रीम रतवल नैनहा की तरफ 5-5 किलोमीटर जाकर खोजबीन कर रही है।
घटना के समय यात्री बसों में सवार सभी यात्री सो रहे थे। नारायण घाट और मुगलिंग के बीच बारिश के कारण भूस्खलन होने से बस अनियंत्रित होकर 1000 फीट नीचे बह रही त्रिशूली नदी में जा गिरी। बस में सवार सभी यात्री इस दुर्घटना में मारे गए। घटना की जानकारी गेट पर खड़े खलासी के बचने और प्रशासन को सूचना देने के बाद सार्वजनिक हो पाई। प्रशासन ने तत्परता से बचाव कार्य शुरू किया, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी।
नेपाल पुलिस प्रशासन के अनुसार, यह एक बड़ी त्रासदी है। अब तक 6 पुरुष, 3 महिलाएं और एक बच्चे का शव गंडक बराज से बरामद किया गया है। एसएसबी 65वीं वाहिनी के कमांडेंट ने बताया कि इस हादसे में 62 यात्रियों का लापता होना बहुत दुखद है। नेपाल सरकार भी लापता शवों की खोजबीन में जुटी हुई है। वही सीमावर्ती बिहार में भी शवों की खोज के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है.
बगहा से अजय शर्मा की रिपोर्ट