सोमवार को भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के द्वारा पटना में प्रीपेड मीटर के विरोध, भूमि सर्वे , सामाजिक सुरक्षा पेंशन को पांच हजार करने भूमिहीनों को 5 डिसमिल जमीन देने सहित 20 सूत्री म गो को लेकर आक्रोशपूर्ण प्रदर्शन किया।इस दौरान पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच हल्की नोक झोंक भी हुई। लेकिन प्रदर्शनकारी पुलिस की बैरिकेटिंग को तोड़कर डीएम कार्यालय तक पहुंचने में सफल रहे। प्रदर्शनकारियों के आक्रोश को देख पुलिस प्रशासन द्वारा सात सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को जिलाधिकारी से मिलवाने के आश्वासन पर प्रदर्शनकारी का आक्रोश कम हु और खेत मजदूर पटना जिला अध्यक्ष का. सत्येंद्र कुमार की अध्यक्षता में सभा हुई। जिसे राज्य सचिव मंडल सदस्य का. रामलला सिंह ने संबोधित करते हुए कहा कि पटना जिला के साथियों ने प्रीपेड मीटर पर पूरे बिहार में आंदोलन बनाने का काम किया। आज यह मुद्दा अब सामाजिक राजनीतिक मुद्दा बन गया है जिसे सरकार को अविलंब वापस लेना होगा नहीं तो अब सरकार की खैर नहीं है। सभा को पटना जिला किसान सभा के संयोजक गोपाल शर्मा ने संबोधित करते हुए कहा कि आज पटना जिला बाढ़ - सुखाड़ के चपेट में है। हजारों किसानों की खेती बर्बाद हो गई है। जिसका सरकार कोई सुध नहीं ले रही है। सभा को जिला कार्यकारिणी सदस्य का. देवरत्न प्रसाद में संबोधित करते हुए कहा कि हमारा आंदोलन प्रीपेड मीटर के खिलाफ एवं इन 20 सूत्री मांगों पर निर्णायक परिणाम तक जारी रहेगा। इसी बीच प्रदर्शनकारियों से चयनित 7 सदस्य प्रतिनिधिमंडल जिसमें जिला सचिव विश्वजीत कुमार जिला सचिवमंडल सदस्य अर्जुन राम, वशिष्ठ कुमार, भूषण पांडे, जिला परिषद सदस्य प्रोफेसर जयप्रकाश सिंह, सगुनी राम एवं कौशल्या देवी शामिल थीं, ने पटना जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह से मिल स्मारक पत्र दिया और सभी मुद्दों पर बिंदुवार बातचीत किया। जिसमें प्रीपेड मीटर- 300 यूनिट बिजली मुफ्त देने, सामाजिक सुरक्षा पेंशन को 5 हजार करने, बेरोजगारी भत्ता दस हजार देने जैसे राज्य और केंद्र के मसले को ऊपर के अधिकारियों को भेजने का आश्वासन दिया और जिले के भूमि संबंधित मामले पर एडीएम को हर मुद्दा पर समुचित कार्रवाई के लिए जवाबदेही दिया। जिस पर अगले शनिवार 5 अक्टूबर को भूमि संबंधित हर मामले पर बिंदुवार वार्ता हेतु समय निर्धारित किया गया।