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पश्चिम चंपारण के कई इलाके में कटाव शुरू, पुलिया भी हुआ ध्वस्त..

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Bettiah - मानसून की बारिश शुरू होने के साथ ही पश्चिम चंपारण के कई इलाकों में छोटी पुल पुलिया ध्वस्त होने लगी है जिससे आम लोगों को परेशानी बढ़ गई है.नरकटियागंज प्रखंड के डीके शिकारपुर पंचायत के शिकारपुर गाव में रखही, धोबहा टोला, फुलवरिया, सखुवनिया समेत दर्जनों गांवों को जोड़ने वाला पुलिया आज ध्वस्त हो गया.पुलिया ध्वस्त होने से तीन पहिया व चार पहिया वाहनों से आवागमन प्रभावित हो गया है.

 पुल धसने की सूचना पर शिकारपुर पंचायत के  दर्जनों ग्रामीण और पैक्स  अध्यक्ष जितेंद्र राव पुल के पास पहुचे l पैक्स अध्यक्ष ने बताया कि पुलिया के बगल से मिट्टी काट कर बेच दिया गया है जिससे  रात को हुई बारिश से पुल धस गया l मिट्टी काटने के बाद फुल ध्वस्त हो जाने के कारण आवागमन पूर्ण रूप से बाधित हो गया है l जिसे ग्रामीणों में आक्रोश बना हुआ है l शिकारपुर मालदाहा समेत आस पास के दर्जनो गावो के लोगो मे पुल धसने को लेकर आक्रोश है l ग्रामीण रमेश साह, अनिल पटेल धुरण साह, राधा पासवान, अलीम मियां समेत दर्जन भर से ऊपर लोगो ने पुलिया के बगल में मिट्टी काटने से पुल धसने का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन किया तथा प्रशासन से अभिलंब बनवाने की मांग किया हैं.

वहीं जिले के योगापट्टी प्रखंड के सिसवा मंगलपुर पंचायत मे मौनसून के आते ही गंडक नदी ने कहर बरपाना शुरू किया है । कटाव रोकने के लिये बालू भरा सैंड बैग बनी शोभा की वस्तु , स्थानीय ग्रामीणो की माने तो जिला पदाधिकारी का अभी तक कटावरोधी कार्य करने का आदेश नहीं मिला है । गंडक नदी का कटाव तेज हो गया है.गंडक नदी का जलस्तर जैसे जैसे बढ रहा है। गंडक नदी का कटाव वैसे वैसे तेज होकर ग्रामीणों को अपने ही हाथों अपने आसियाना को मिटाना पड़ रहा है। ग्रामीणों को अपना घरों को तोडकर सुरक्षित ठिकाने पर ले जाने की होड़ लगी है।अभी मौनसून का पहली बारिश शुरू हुई है। तीन दिनो से नेपाल की तराई ईलाके व जिले मे लगातार कभी तेज तो कभी हल्की बारिश हो रही है, जहां किसान खुश है कि धान की रोपनी इस बार समय से हो जायेगी तो वही सिसवा मंगलपुर पंचायत के ग्रामिणो के चेहरे पर मायूसी छाई है ।सिसवा मंगलपुर पंचायत के सिसवा खापटोला गांव के समीप गंडक नदी कटाव करते हुए गांव के दर्जनों घरों को अपना निशाना बनाना शुरू कर दिया है । गंडक नदी के तेज कटाव से पुरा गांव में दहशत व्याप्त हो गया है। तेज कटाव को देखते हुए गांव के लोरिक गद्दी मंगल मियां और रामलोचन साह अपने अपने घरो को तोडकर उसके मलवे को कटाव से दूर सुरक्षित ठिकाने पर बैल गाड़ी से ढुलाई कर रहे हैं। वहीं फूस के घरों को भी गृहस्वामी कटाव की स्थिति को देखकर अपना अपना घर तोड़ कर बांस बल्ली निकाल कर पलायन कर सुरक्षित ठिकाने की ओर जाने की तैयारी शुरू कर दी है। 

 बेतिया से आशीष की रिपोर्ट 

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