बिहार में शिक्षा व्यवस्था की बड़ी पोल खुल कर सामने आ गई है. इस खुलासे के बाद यूं कहा जा सकता है कि, शिक्षा व्यवस्था पर सवाल उठने शुरु हो गए हैं. दरअसल, एक हेडमास्टर ने सुसाइड कर लिया है और हेडमास्टर द्वारा लिखा गया सुसाइड नोट खूब तेजी से वायरल भी हो रहा है. वहीं, इस घटना को लेकर शिक्षक नेता ने सरकार और सिस्टम पर कड़ा कटाक्ष भी कर दिया है. दरअसल, शिक्षक नेता अमित विक्रम ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स के जरिये पोस्ट कर लिखा कि, "ये एक शिक्षक का सुसाइड नोट है. पढिए और शर्म कीजिए कि कैसा समाज है जो शिक्षकों से लेवी मांगता है. विद्यालय निर्माण के लिए मिले फंड में से कमीशन मांगता है. ये पूरे सरकार और सिस्टम के मुंह पर कालिख पोत कर चला गया. लेकिन, अब देखना ये है कि, सरकार इस कालिख को पोछती है या उसी कालिख को अपना श्रृंगार समझती है."
क्या कुछ था पूरा मामला
अब क्या कुछ पूरा मामला है, आपको विस्तार से बताते हैं... जानकारी के मुताबिक, मृतक शिक्षक का नाम अजय कुमार है. अजय कुमार प्रभारी प्रधानाध्यापक पिपरिया नागर टोला के स्कूल में कार्यरत थे. 25 मार्च की शाम अजय अपने घर से निकल गए थे और देर रात होने तक नहीं लौटे, जिससे परेशान होकर घरवालों ने उनकी तलाश शुरू कर दी थी. अजय के घरवालों को उनका शव पास के एक बगीचे में एक पेड़ से लटका मिला. यह मंजर घर वालों के पैरों तले मानो जमीन खिसक गई. वहां मौजूद लोगों में कोहराम मच गया. इस दौरान पुलिस को कॉल कर सूचना दी गई. जानकारी मिलते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंच गई और शव को पेड़ से नीचे उतारा था. वहीं, छानबीन करते समय पुलिस को शव की पेंट की पॉकेट से सुसाइड लेटर मिला, जिसे पढ़कर सभी के होश उड़ गए.
सुसाइड नोट में लिखा बहुत कुछ
अजय ने लेटर में लिखा था कि, 'मैं अजय कुमार प्रभारी प्रधानाध्यापक एनपीएस पिपरिया नागर टोला में कार्यरत हूं, जहां की वार्ड सदस्य जो की मेरे विद्यालय की अध्यक्ष सोनी कुमारी और उनके पति अजय कुमार और मुखिया विनय कुमार के द्वारा मुझे लगातार परेशान किया जा रहा है. इसका कारण है कि मेरे विद्यालय भवन के निर्माण के लिए जो राशि आई है, उस राशि में से ये लोग 10 लाख रुपये की मांग कर रहे हैं'. सुसाइड नोट की माने तो, अजय ने कई बार उन लोगों को समझाया कि इस स्कूल की जो जमीन है उसकी एन ओ सी नहीं है. इसके बाद इन लोगों ने अजय को दूसरी जगह अपने स्कूल निर्माण बनाने की बात कही थी, जिससे वह अक्सर परेशान रहता था और 25 मार्च की शाम उसने घर के पास में बगीचे के पेड़ से लटककर आत्महत्या कर ली.
फिलहाल पुलिस कर रही जांच
फिलहाल पुलिस की टीम ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है. साथ ही मृतक के पास से मिले सुसाइड लेटर को भी जब्त कर लिया है. हालांकि, इस घटना को लेकर लगातार सवाल उठाए जा रहे हैं. आत्महत्या जैसा कदम उठाना एक जांच का विषय है. हालांकि, पुलिस की जांच के बाद ही मामले की सच्चाई सामने आ सकेगी. इधर, हेडमास्टर के इस कदम के बाद उनका सुसाइड नोट बड़े ही तेजी से वायरल हो रहा है. जिस पर शिक्षक नेता की ओर से तंज भी कसा गया. सरकार और सिस्टम पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है.