पटना के चर्चित शूटआउट में पिछले दिनों घायल हुए नीलेश मुखिया ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया है. नीलेश मुखिया ने बुधवार सुबह दिल्ली एम्स में आखिरी सांस ली. उन्हें 7 गोलियां लगी थीं. 31 जुलाई को पाटलिपुत्र थाना इलाके में कुर्जी मोड़ के पास दो बाइक सवार चार अपराधियों ने नीलेश यादव उर्फ नीलेश मुखिया को गोलियों से भून दिया था. बीते 7 अगस्त को उन्हें एयर एंबुलेंस के जरिए पटना से दिल्ली रेफर किया गया था.
बता दें कि 31 जुलाई की सुबह नीलेश कुर्जी के 66 नंबर गेट स्थित घर से कार से दफ्तर जा रहे थे. तभी अपराधियों ने इस वारदात को अंजाम दिया. गोली लगने के बाद नीलेश को कुर्जी होली फैमिली अस्पताल ले जाया गया. प्राथमिक उपचार के बाद उन्हें पाटलिपुत्र स्थित निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया. नीलेश को गर्दन में पांच, पैर में एक जबकि एक गोली जबड़े में लगी थी. पाटलिपुत्र स्थित निजी अस्पताल में डॉक्टरों की विशेष टीम ने नीलेश मुखिया का ऑपरेशन किया. चार घंटे तक चले ऑपरेशन के बाद एक-एक कर सात गोलियां निकाली गईं.
पूर्व मुखिया रह चुके नीलेश की पत्नी सुचित्रा सिंह वार्ड नंबर 22 बी की पार्षद हैं. कुछ माह पूर्व नीलेश को धमकी भी मिली थी. इसकी सूचना उन्होंने दीघा पुलिस को दी थी. नीलेश भाजपा के कार्यकर्ता थे. खुद पर जानलेवा हमला होने का अंदेशा कई महीने पूर्व ही नीलेश मुखिया को लग चुका था. उन्होंनेन्हों सुरक्षा देने और हथियार के लाइसेंस को लेकर आवेदन भी दिया था. हाल ही में नीलेश पर देवन राय की हत्या का झूठा मुकदमा दर्ज हुआ था. देवन की जगह दूसरे व्यक्ति का शव रखकर उन पर हत्या के आरोप लगाए गए थे. केस दर्ज होने के दो दिनों बाद ही देवन जिंदा वापस लौट आया था.