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सिपाही भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में संजीव मुखिया के डॉक्टर बेटे का बड़ा खुलासा..

Sanjeev Mukhiya's doctor son made a big revelation in the co

Desk- बिहार सिपाही पेपर लीक मामले का सबसे बड़ा मास्टरमाइंड संजीव मुखिया और उसका बेटा शिवकुमार उर्फ बिट्टू है और दोनों पिता-पुत्र मिलकर राजनीति में अपने पैठ को मजबूत करना चाह रहा था. इसका खुलासा बिहार की जांच एजेंसी आर्थिक अपराध इकाई (EOU ) ने की है.

 बताते चलें कि इस मामले में संजीव मुखिया अभी भी फरार है और ऐसी जानकारी है कि वह नेपाल में छुपा हुआ है जबकि संजीव मुखिया का बेटा डॉक्टर शिवकुमार उर्फ़ बिट्टू जेल में बंद है. पूछताछ में  बिट्टू ने स्पष्ट रूप से कहा है कि उसकी मां 2020 के विधानसभा चुनाव में हरनौत से मैदान में उतरी थी जिसमें करीब 5 करोड रुपए खर्च हुए थे इसके बावजूद वह जीत नहीं पाई. वे और उनके पिता चाहते हैं कि उनकी मां लोकसभा का चुनाव लड़कर संसद में जाए, जिससे की राजनीति में उनका कद बढे . लोकसभा चुनाव जीतने के लिए कई करोड़ रुपए की जरूरत होगी और इतने सारे रूपये क्वेश्चन पेपर लीक कर ही कमाए जा सकता है. डॉ शिवकुमार की यह स्वीकारोक्ति EOU  ने अपने चार्जशीट में दाखिल की है.

 आरोपी डॉक्टर शिव कुमार के अनुसार क्वेश्चन पेपर लीक में उन्हें परीक्षा कराने वाली एजेंसी के कई अधिकारी और कर्मचारियों का भी परोक्ष रूप से सपोर्ट मिलता था. वहीं से यह जानकारी मिलती थी कि कहां क्वेश्चन पेपर छप रहा है. क्वेश्चन पेपर छापने के बाद जब उसे संबंधित जगह भेजा जाता था इसी बीच में वे क्वेश्चन पेपर का सील तोड़कर उसका फोटो खींचते थे और फिर नया सील लगाकर भेज दिया जाता था. इसके बाद लीक पेपर को अपने नेटवर्क के माध्यम से अलग-अलग जगहों पर भेजा जाता था.

 गौरतलब है कि सिपाही भर्ती परीक्षा करने वाले केंद्रीय चयन पर्षद के अध्यक्ष और राज्य के पूर्व DGP एस के सिंघल के खिलाफ भी जांच एजेंसी EOU ने कई गंभीर आरोप लगाए हैं और कार्रवाई के लिए आलाधिकारी को पत्र भेजा है.

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