अगस्त महीने में बीएड, बीटीसी को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने एक फैसला सुनाया था कि बीएड नहीं सिर्फ डीएलएड डिग्री धारी ही प्राथमिक शिक्षकों यानी बेसिक के लिए योग्य होंगे. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले को अब बिहार बीपीएससी शिक्षक भर्ती में भी लागू किया जाएगा. यानी SC का फैसला BPSC शिक्षक भर्ती में मान्य होगा. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद बिहार के बीएड अभ्यर्थियों को बड़ा झटका लगा है. सर्वोच्च न्यायलय ने बिहार सरकार को 11.8.23 के आदेश जिसमें कहा गया है की PRT में बीएड नॉट एलिजिबल को मानने को कहा है. मतलब अब साफ है कि BPSC शिक्षक भर्ती के PRT यानी प्राथमिक यानी बेसिक के लिए बीएड योग्यताधारी अब शिक्षक नहीं बन सकेंगे. इससे डीएलएड वाले उम्मीदवारों को फायदा होगा.
आपको मालूम है, बिहार में 1 लाख 70 हजार पदों पर शिक्षकों की भर्ती होनी है, इसके लिए परीक्षाएं ली जा चुकी हैं. इसमें 3 लाख 80 हजार अभ्यर्थी ऐसे हैं, जो बीएड धारी हैं और उन्होंने परीक्षा दी है. बीपीएससी के माध्यम से प्राथमिक शिक्षकों के 79 हजार 943 पदों पर नियुक्ति की जा रही है. आपको बता दें कि फिलहाल बीपीएससी शिक्षक नियुक्ति के अंतर्गत राज्यभर में कागजात सत्यापन शुरू हुआ है.
इससे पहले BPSC अध्यक्ष ने भी इस बात के संकेत दिए थे कि सुप्रीम कोर्ट ने जो फैसला दिया है, उसका प्राइमरी शिक्षकों के लिए योग्यता पर असर पड़ सकता है. उन्होंने कहा था कि समय पर शिक्षक भर्ती परीक्षा कराना और कुछ उम्मीदवारों का अयोग्य होना दोनों अलग-अलग बात है. पिछले सप्ताह सुप्रीम कोर्ट ने जो फैसला दिया है, उसका असर शिक्षकों की भर्ती पर नहीं पड़ेगा लेकिन उम्मीदवारों की अयोग्यता के बारे में यह नहीं कहा जा सकता है कि उनपर असर नहीं पड़ेगा. उन्होंने अभ्यर्थियों को सलाह दी है कि उम्मीदवारों को अपने सर्वोत्तम हित की खातिर अनुमान लगाने में यथार्थवादी होना चाहिए.