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तेजप्रताप ने चेतन आनंद पर बिना नाम लिए करारा तंज कसा, ऐसे दिया जवाब

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बिहार में 12 फरवरी यानि कि एनडीए की सरकार के बनने के बाद फ्लोर टेस्ट का दिन बेहद खास रहा. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 9वीं बार विश्वास मत हासिल किया. जिसके बाद से बीजेपी और जेडीयू के नेता और कार्यकर्ताओं के बीच गजब का उत्साह देखने के लिए मिल रहा है. इस बीच फ्लोर टेस्ट में पटखनी खाने के बाद आरजेडी की ओर से रिएक्शंस सामने आ रहे हैं. दरअसल, आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव के बड़े लाल व आरजेडी नेता तेजप्रताप यादव ने नीतीश कुमार के नेतृत्व वाले एनडीए के पक्ष में वोट करने को लेकर चेतन आनंद को निशाने पर लिया है. इसके साथ ही चेतन आनंद को उन्हीं के अंदाज में करारा जवाब दे दिया है.

क्या लिखा तेजप्रताप यादव ने ?

तेजप्रताप यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट किया है. इस पोस्ट में तेजप्रताप यादव ने चेतन आनंद का नाम तो नहीं लिया लेकिन इशारों-इशारों जबरदस्त सुना दिया है. पूर्व मंत्री तेज प्रताप यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि, ''लेकिन तुम्हारी आंखों में पानी बिल्कुल भी नहीं है आज ये साबित हुआ.'' आपको याद दिला दें कि, बहुमत परीक्षण से पहले आरजेडी विधायक और बाहुबली नेता आनंद मोहन के बेटे चेतन आनंद के पाला बदलकर एनडीए खेमे में आने के बाद उनका एक फेसबुक पोस्ट सामने आया था. चेतन आनंद ने अपने आधिकारिक फेसबुक पेज पर लिखा था कि, 'ठाकुर के कुएं में पानी बहुत है, सब को पिलाना है.' जिसके बाद तेजप्रताप यादव का यह पोस्ट सामने आया है. 

कहां से शुरु हुआ था विवाद ?

बता दें कि, बिहार में नीतीश कुमार ने जब से आरजेडी से नाता तोड़कर एनडीए के साथ मिलकर सरकार बनाई थी. तेजस्वी उसी समय से कह रहे थे कि खेला होगा लेकिन फ्लोर टेस्ट के दौरान पूरा नजारा बदल गया और आरजेडी के विधायक ही टूट गए. चेतन आनंद ने नीतीश सरकार के समर्थन में वोटिंग कर सबको चौंका दिया. आपको याद होगा कि ये ठाकुर का कुएं वाली बात नई नहीं है. कुछ ही महीनों पहले महिला आरक्षण बिल पर सदन में अपनी बात रखते हुए आरजेडी सांसद मनोज झा ने कहा था कि इस बिल को दया भाव की तरह पेश किया जा रहा है. उन्होंने कहा था कि दया कभी अधिकार की श्रेणी में नहीं आ सकता है. आखिरी में उन्होंने ओमप्रकाश वाल्मीकि की कविता पढ़कर अंदर के ठाकुरों को मारने का आह्वान किया था. वो कविता थी.....

ओमप्रकाश वाल्मीकि की कविता 

"चूल्हा मिट्टी का, मिट्टी तालाब की, तालाब ठाकुर का. भूख रोटी की, रोटी बाजरे की, बाजरा खेत का, खेत ठाकुर का. बैल ठाकुर का, हल ठाकुर का, हल की मूठ पर हथेली अपनी, फसल ठाकुर की. कुआं ठाकुर का, पानी ठाकुर का, खेत-खलिहान ठाकुर के, गली-मोहल्ले ठाकुर के फिर अपना क्या ?" मनोज झा के इसी बयान पर अब चेतन आनंद ने फेसबुक पोस्ट कर उनके विचारों का विरोध किया था. चेतन आनंद ने उस वक्त भी फेसबुक पर लिखा था- "हम "ठाकुर" हैं साहब!! सबको साथ लेकर चलते हैं! इतिहास में सबसे अधिक बलिदान हमारा है! समाजवाद में किसी एक जाती को टार्गेट करना समाजवाद के नाम पर दोगलापन के अलावा कुछ नहीं! जब हम दूसरों के बारे में गलत नहीं सुन सकते तो अपने (ठाकुरों) पर अभद्र टिप्पणी बिल्कुल नहीं बर्दाश्त करेंगे!! #माननीय_संसद_श्री_मनोज_झा_के_विचारों_का_पुरजोर_विरोध!" वहीं, इसे लेकर अब तक विवाद देखने के लिए मिल रहे हैं.

फ्लोर टेस्ट के पहले रात को क्या हुआ ?

वहीं, फ्लोर टेस्ट के ठीक एक रात पहले का जिक्र करें तो चेतन आनंद को लेकर रात के 1 बजे तक हाई वोल्टेज ड्रामा तेजस्वी यादव के आवास पर देखने के लिए मिला था. दरअसल आरजेडी विधायक चेतन आनंद को लेकर पटना पुलिस को शिकायत की गई थी की उन्हें किडनैप करके तेजस्वी के आवास पर रखा गया है. इसके बाद पुलिस इसकी जांच करने तेजस्वी यादव के आवास पर पहुंच गई. हालांकि पुलिस को वहां आरजेडी कार्यकर्ताओं के विरोध का भी सामना करना पड़ा और काफी हंगामा भी हुआ. इसके बाद चेतन आनंद ने पुलिस से कहा कि वो अपनी मर्जी से यहां हैं. इसके बाद पुलिस वापस लौट गई थी. इसके बाद आधी रात बीतते-बीतते एक बार फिर पुलिस तेजस्वी आवास पर पहुंच गई. पुलिस जब देर रात दोबारा तेजस्वी यादव के आवास पर पहुंची तो आरजेडी विधायक चेतन आनंद वहां से निकल गए और अपने घर पहुंच गए हैं. इसके बाद चेतन आनंद ने सुबह नीतीश कुमार से मुलाकात की थी जिसके बाद वो एनडीए के खेमे में शामिल हो गए. वहीं, अब नई सरकार के पूर्ण रुप से गठन के बाद सत्ता पक्ष और विपक्ष की ओर से कई तरह की प्रतिक्रयाएं देखने के लिए मिल रही है. इस बीच आरजेडी नेता तेजप्रताप यादव ने चेतन आनंद पर इशारों-इशारों में बहुत कुछ सुना दिया.

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