गया जी: बिहार में इन दिनों लगातार चुनावी बयार बह रहा है। विधानसभा चुनाव जैसे जैसे नजदीक आ रहा है बिहार में सियासत तेज होते जा रहा है। पक्ष विपक्ष आपस में वार पलटवार तो कर ही रहे हैं इसके साथ ही कुछ अन्य दल भी अपना भाग्य अजमाने की बात कर रहे हैं। चुनाव को लेकर एनडीए और इंडिया गठबंधन दोनों ही अभी तक यह कहता आ रहा है कि हमारे गठबंधन में सीट शेयरिंग में कोई पेंच नहीं है। इन्हीं मुद्दों पर बात करते हुए शनिवार को केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने एक तरफ सीट शेयरिंग पर प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश के निर्णय के अनुसार घटक दलों के चुनाव लड़ने की बात कही तो दूसरी तरफ उन्होंने शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद को लेकर एक विवादित बयान भी दे दिया।
मोदी-नीतीश करेंगे फाइनल
पत्रकारों से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि बिहार में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार ही नहीं देश का भी अभूतपूर्व विकास हो रहा है। आज के समय में भारत और प्रधानमंत्री अगुआ नेता और देश के रूप में देखा जा रहा है। वहीं उन्होंने NDA में सीट शेयरिंग को लेकर कहा कि प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बातचीत कर रहे हैं। वही दोनों सीट शेयरिंग पर अंतिम मुहर लगायेंगे और जिस पार्टी को जितनी सीट दी जाएगी वह पार्टी उतनी सीट पर चुनाव लड़ेगी।
गंदा आदमी है वह
इस दौरान पत्रकारों ने जब शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद के द्वारा बिहार में निर्दलीय उम्मीदवार उतारने के संबंध में सवाल किया तो केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने एक विवादित बयान दे दिया और कहा कि वह 225 सीट क्यों 243 सीट पर चुनाव लड़ें इसमें क्या दिक्कत है। यहां लोकतंत्र है और सबको अधिकार है चुनाव लड़ने का, वह भी लड़ें। उन्होंने शन्कराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद के द्वारा प्रधानमंत्री मोदी पर काम नहीं करने के आरोप पर कहा कि वह गंदा आदमी हैं, उनका शंकराचार्य का टाइटल हट जाना चाहिए। नरेंद्र मोदी ने पाकिस्तान को कहा था कि ऐसा मारेंगे कि उठ नहीं पाएंगे। यह बात पूरा संसार कह रहा है, हम चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुके हैं, हमारे वैज्ञानिक चाँद पर चले गए। आज संसार में हमारा देश अगुआ देश और पीएम मोदी अगुआ नेता के रूप में स्थापित हैं यह शायद शंकराचार्य को पता नहीं है। उन्हें अपनी जानकारी में सुधार करनी चाहिए।
पश्चाताप यात्रा करें तेजस्वी
केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के बिहार अधिकार यात्रा को लेकर कहा कि उन्हें पश्चाताप यात्रा पर निकलना चाहिए। उनके माता पिता ने जो काम किया है उसका दंश आज भी हमलोग झेल रहे हैं। आज भी अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति, ओबीसी और अतिपिछड़ा के लोगों को रहने के लिए सरकार ने जो जमीन दी है उसका 70 प्रतिशत जमीन तेजस्वी के कब्जे में है। उन्हें पश्चाताप करना चाहिए। उन्हें लॉ एंड ऑर्डर पर बोलने का अधिकार नहीं है। मुझे पता है कि राज्य में जब चोरी या अन्य कोई अपराध होता था तो उनके पिता जी सुलह करवाते थे और कहते थे कि ये भूखा है इसे कुछ दे दो। आज ऐसा कुछ हो रहा है क्या?