सीएम हेमंत सोरेन पर निशाना साधाते हुए बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने उन्हें "X" पर पोस्ट कर कहा कि हेमंत सोरेन या तो माफी मांगे, या तो प्रदेश की जनता को 5 साल का हिसाब दें. बाबूलाल ने आगे लिखा है कि युवा आक्रोश रैली के जरिये प्रदेश में लाखों युवाओं-बेरोजगारों को नौकरी और रोजगार का हक दिलाने के लिए लड़ाई की शुरुआत की गयी. हेमंत सोरेन ने युवाओं को ना तो 5 लाख नौकरी दी, ना ही राजनीति से संन्यास लिया. युवाओं के आक्रोश को देखकर डर चुके हेमंत वादाखिलाफी के लिए युवाओं से माफी मांगे।
मरांडी ने लिखा है कि रांची जिले में हो रहे आतंकी गतिविधियों, बांग्लादेशी मुसलमानों के घुसपैठ, आदिवासियों पर अत्याचार और निर्दोष लोगों की हत्याओं पर चुप रहने वाले एसपी का राजनीतिक कार्यकर्ता की तरह बयान देना स्पष्ट करता है कि हेमंत सोरेन ने युवाओं के आक्रोश को दबाने के लिए पूरी सरकारी मशीनरी झोंक दी. सत्ता तो आती-जाती रहती है. लेकिन महज सत्ताधारी लोगों के गुडबुक में शामिल होने के लिए ऐसे अधिकारियों के नैतिकता का पतन देखकर दुख होता है. डीजीपी से कहा है कि पूर्वाग्रह से ग्रसित संबंधित एसपी और तस्वीरों में दिख रहे पत्थरबाज पुलिसकर्मियों पर उचित कारवाई करें।
बाबूलाल ने एक्स पर एक अन्य पोस्ट में लिखा कि रांची एसपी का बेहद आपत्तिजनक वक्तव्य संज्ञान में आया है. इनकी बातों को सुनकर लगता है कि ये राजनीतिक पूर्वाग्रह से ग्रसित हैं और अपनी जिम्मेदारियों को छोड़कर झामुमो कार्यकर्ता की तरह काम कर रहे हैं. तस्वीरों में साफ देखा जा सकता है कि हेमंत सोरेन की पत्थरबाज पुलिस ने निहत्थे महिलाओं और युवाओं पर अंधाधुंध पत्थर बरसा कर उन्हें गंभीर रूप से जख्मी करने और उकसाने का प्रयास किया।
कल मेरे संबोधन के दौरान भी हेमंत सोरेन और इन जैसे अधिकारियों के इशारे पर ही निर्दोष, निहत्थे युवाओं पर आंसू गैस के गोले छोड़े गये. रांची एसपी दिमाग में यह बात घुसा लें कि भारत माता की जय बोलने वाला सच्चा देशभक्त होता है, कोई पत्थरबाज नहीं. पत्थरबाज है तो, वो है सत्ता के इशारे पर पत्थर फेंकने वाली हेमंत सोरेन की पुलिस.....